Wednesday, November 3, 2010

अगर वो मेहरबाँ होती....

अगर वो मेहरबाँ होती तो मेरी आँखें ना झिलमिल होती,
ना मेरे दिल की वादी में खिज़ां का काफ़िला रुकता,
अगर वो मेहरबाँ होती,मेरी बेनूर आँखों में सितारे कैद कर देती,
मेरी ज़ख़्मी हथेली पर वो एक फूल रख़ देती, 
मेरे हाथों को अपने हाथों में लेकर,
वो ये कहती......
मोहब्बत रौशनी है,रंग है,खुशबू है,सितारा है,
कसम मुझको मोहब्बत की मुझे तू सबसे प्यारा है,
मगर ऐसा वो तब कहती अगर वो मेहरबाँ होती |

9 comments:

  1. बहुत खूब

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  2. आपको भारत के महापर्व दीपोत्सव की हार्दिक शुभकामनाएं।

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  3. बहुत अच्छी पोस्ट,

    दीपावली की हार्दिक शुभकामनाएँ|

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  4. अच्छा आग़ाज़ है...मुबारकबाद.

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  5. दीपावली का त्यौहार आप, सभी मित्र जनो को परिवार को एवम् मित्रो को सुख,खुशी,सफलता एवम स्वस्थता का योग प्रदान करे -
    इसी शुभकामनओ के साथ हार्दिक बधाई।

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  6. शुक्रिया दोस्तों.....
    आशा करता हूँ की आपको मेरी रचनायें पसंद आती होंगी
    यदि कोई त्रुटी हो तो हाथ जोड़ के आप सभी से माफ़ी मांगता हूँ |

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